करेंसी स्वैप किसे कहते हैं? | करेंसी स्वैप क्यों की जाती है?

जिस प्रकार भारत देश की मुद्रा का नाम रुपए हैं। उसी प्रकार प्रत्येक देश की अपनी एक करेंसी होती है। तथा उसे हर देश में अलग-अलग नाम से जाना जाता है। जो दुनिया भर में उस नाम से किसी एक विशेष देश की मुद्रा के लिए फेमस होती है। आपके मन में यह प्रश्न अवश्य आया होगा कि हर देश की मुद्रा का नाम अलग अलग क्यों होता है? यह मुद्राओं की कीमत के कारण होता है। यही कारण है कि हमारे द्वारा इस आर्टिकल के अंतर्गत आज आपको Currency Swep Kya Hota Hai? इसके बारे में संपूर्ण जानकारी प्रदान की गई है। यहां हम आपको मुद्रा से संबंधित जानकारी प्रदान करने की कोशिश करेंगे।

यह बात तो हम सब जानते हैं, कि प्रत्येक देश की मुद्रा की कीमत अलग-अलग होती है। इसी मुद्रा के आधार पर हम सब देश की महत्वता को आंक सकते हैं। करेंसी स्वैप का इस्तेमाल विदेशी मुद्रा भंडार या विदेश नीति के द्वारा किया गया था। व्यापार बढ़ाने जैसे अन्य कार्य के लिए परंतु करेंसी स्वैप का इस्तेमाल किया जाता है। करेंसी स्वैप शब्द हर किसी ने सुना होगा। परंतु बहुत कम लोग इसके बारे में जानते होंगे। यदि आप जानना चाहते हैं कि What is the Currency Swep? तो हम आपको इसके बारे में विस्तार पूर्वक इस लेख के अंतर्गत जानकारी देंगे। अधिक जानकारी के लिए इस लेख को अंत तक अवश्य पढ़े।

करेंसी स्वैप क्या होता है? (What is the Currency Swap?)

करेंसी स्वैप की सम्पूर्ण जानकारी समझने से पहले आप को What is the Currency Swap? इसके बारे में जानकारी प्राप्त करनी होगी। अपनी मुद्रा का आदान प्रदान करना ही करेंसी स्वैप कहलाता है। यह आदान-प्रदान एक देश की मुद्रा का दूसरे देश की मुद्रा से किया जाता है। करेंसी स्वैप के माध्यम से एक देश के दूसरे देश के साथ संबंध अच्छे होते हैं। साथ ही साथ उनका आपस में व्यापार भी बढ़ता है। करेंसी स्वैप को करने के लिए एक देश का दूसरे देश पर भरोसा होना चाहिए। साथ ही साथ उनके बीच लेन देन का व्यापार होना चाहिए।

करेंसी स्वैप किसे कहते हैं? | करेंसी स्वैप क्यों की जाती है?

यदि आपको करेंसी स्वैप का एक उदाहरण देकर समझाएं, तो जब भारत के रुपए को जापान के येन के साथ बदल लिया जाता है या फिर रूस के रूबल को कुवैत के दिनार से बदला जाता है। तो इस प्रक्रिया को करेंसी स्वैप के नाम से जाना जाता है। यह प्रक्रिया दो सरकारों, कंपनियों, संस्थाओं या व्यक्तियों के बीच होती है। करेंसी स्वैप दो देशों के बीच अच्छे संबंध करने का एक अच्छा तरीका साबित हो सकता है। करंसी स्वैप एक प्रकार की विदेशी नीति है। यह प्रक्रिया एक देश के अंदर नहीं की जा सकती है।

करेंसी स्वैप का क्या मतलब होता है? (What is the meaning of Currency?)

 करेंसी स्वैप एक अंग्रेजी शब्द है। बहुत से भारतीय लोग इसका अर्थ हिंदी में समझना चाहते हैं, यदि आप करेंसी स्वैप को हिंदी में विस्तार पूर्वक जानना चाहते हैं। तो हमारे द्वारा यहां आपको इसकी जानकारी दी जा रही है। हिंदी भाषा में करेंसी स्वैप को “मुद्रा विनियम” के नाम से जाना जाता है। इसे पैसों की अदला बदली के नाम से भी बहुत आसानी से समझा जा सकता है। जिस प्रकार आप किसी को 500 का नोट देकर उसके खुले मांगते हैं। उसी प्रकार कोई दूसरा देश अपनी करेंसी देकर आप दूसरे देश की करेंसी प्राप्त करता है। ऐसे ही मुद्रा विनियम कहा जाता है।

 भारत की मुद्रा का नाम रुपया है। परंतु वैश्विक स्तर पर इसे करेंसी या मुद्रा के नाम से ही जाना जाता है। इसे ही सामान्य भाषा में लोगों के द्वारा पैसा या धन के नाम से जाना जाता है। स्वैप का अर्थ अदला-बदली होता है। आजकल इंटरनेट चलाने वाले प्रत्येक व्यक्ति को स्वैप का अर्थ पता होता है। स्वैप किसी भी चीज का किया जा सकता है। परंतु यदि करेंसी स्वैप की बात की जाए, तो केवल करेंसी का ही स्वैप  कर सकते हैं अर्थात मुद्रा विनियम में मुद्रा का ही विनिमय किया जाता है।

करेंसी स्वैप कैसे काम करती है? उदाहरण सहित (How Currency Swap works? With Example)

करेंसी स्वैप क्या होता है? तथा करेंसी स्वैप का क्या मतलब होता है? इसके बारे में हमारे द्वारा ऊपर जानकारी दे दी गई है। परंतु करेंसी स्वैप अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कैसे कार्य करती है? इसके बारे में बारे बारे यह जानकारी दी जा रही है। करेंसी स्वैप के माध्यम से अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आदान प्रदान का कार्य किया जाता है। किसी भी संस्था के द्वारा दूसरी संस्था से अपने मूल्य के सामान उसकी करेंसी की अदला बदली किये जाने वाली प्रक्रिया ही करेंसी स्वैप कहलाती है। हमारे द्वारा आपको Currency Swap Kaise Karya Karti Hai? इसके बारे में उदाहरण देकर समझाया गया है।

माना कि एक देश भारत है और दूसरा देश में है। भारत देश की मुद्रा को रुपया के नाम से जाना जाता है। तथा रूस देश की मुद्रा को रूबल के नाम से जाना जाता है। उदाहरण के तौर पर देखा जाए, तो विदेशी मुद्रा भंडार के माध्यम से जब दो देशों के बीच व्यापार होता है। तो यह भुगतान अमेरिकी डॉलर के अनुसार किया जाता है क्योंकि अमेरिका की करेंसी को भी देश की करेंसी का अधिकार प्राप्त है। परंतु यदि कोई व्यक्ति अपनी करेंसी की तुलना में दूसरे की करेंसी के साथ अदला-बदली करना चाहता है। तो इसे ही करेंसी स्वैप कहते हैं। भारत का ₹1 रुपया रूस के 2 रूबल के बराबर होता है। अब मान लीजिए कि रूस 60 रूबल के प्रति मीटर के तहत भारत को तेल भेजता है तहत भारत के तो भारत के लिए वह कीमत ₹30 हुई।

करेंसी स्वैप क्यों की जाती है? (Why Currency Swap is Done?)

करेंसी स्वैप कैसे काम करती है? इसके बारे में आपको ऊपर जानकारी प्राप्त हो गई है। परंतु करेंसी स्वैप करने का क्या तात्पर्य होता है? अर्थात Why Currency Swap is Done? किसी चीज को जारी करने के पीछे कोई ना कोई उद्देश्य अवश्य होता है। विश्व स्तर पर करंसी स्वैप के माध्यम से अमेरिका जैसी कुटिल देश पर अपनी निर्भरता को खत्म करने का उद्देश्य बिल्कुल साफ है। यदि जल्दी का ही उदाहरण दिया जाए, तो रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध छिड़ा था। जिसमें अमेरिका के द्वारा रूस पर बहुत से प्रतिबंध लगाए गए। साथ ही साथ विदेशी व्यापार करने के लिए रूस को डॉलर का इस्तेमाल करने पर भी प्रतिबंध लगा दिया गया।

हमारा देश भारत का रूस के साथ एक व्यापक स्तर पर व्यापार हुआ करता था। डॉलर के माध्यम से आदान-प्रदान करने पर इस व्यापार में बाधा उत्पन्न होने लगी। इस दुविधा को देखते हुए भारत सरकार व रूस के बीच करेंसी स्वैप करवाए जाने का निर्णय लिया गया। इसके अनुसार भारत यदि रूस से कोई भी सामान खरीदता है। तो वह उसका भुगतान रुपए में हीं करेगा अर्थात यदि रूस भारत से कोई सामान खरीदता है। तो वह उसका भुगतान रूबल में करेगा।  इसके माध्यम से दोनों देशों के बीच निकटता और संबंध अच्छे होते हैं। अमेरिका पर दोनों देश की निर्भरता खत्म होती है। साथ ही साथ पहले की तुलना में अर्थव्यवस्था और भी अधिक सक्षम होती।

करेंसी स्वैप किनके बीच होती है? (Currency Swap takes place between?)

हमने ऊपर आपको करेंसी स्वैप के बारे में जानकारी दी है। इससे आप अंदाजा लगा पा रहे होंगे, कि करंसी स्वैप केवल 2 देशों की सरकारों के बीच होती है। परंतु यह अंदाजा गलत है। हम आपको यहां बताएंगे Currency Swap Kinke Beech Hoti Hai? करेंसी स्वैप केवल दो देशों के बीच में न होकर, दो कंपनियां, दो व्यक्तियों, दो संस्थाओ और उद्यगो आदि के बीच होती है। हालांकि इसका पूरा निर्णय दो देशों की सरकारों के संबंधों पर पूर्ण रूप से निर्भर करता है। तो यदि किसी देश का व्यक्ति दूसरे देश के व्यक्ति से करेंसी स्वैप करना चाहता है। तो उसे यह अवश्य जान लेना चाहिए। आपकी सरकार आपको यह करने की अनुमति प्रदान करेगी या नहीं। इसके बाद ही आप करेंसी स्वैप करने का निर्णय ले पाएंगे और इस कुत्तिया को पूरा कर पाएंगे।

करेंसी स्वैप के फायदे? (Benefits of Currency Swap?)

यदि आप करेंसी स्वैप के बारे में संपूर्ण जानकारी प्राप्त कर चुके हैं। तो आपके मन में यह सवाल अवश्य आया होगा कि करेंसी स्वैप करने के क्या फायदे होते हैं? आखिर हमे करेंसी स्वैप क्यों करना चाहिए? करेंसी स्वैप के माध्यम से विभिन्न प्रकार के कार्य संपन्न किए जाते हैं। तो हम आपको Benefits of Currency Swap? के बारे में जानकारी दे रहे हैं-

  • इसका सबसे बड़ा फायदा तो यह है, कि कोई भी देश अमेरिका की करेंसी पर किसी भी प्रकार से लेनदेन हेतु निर्भर नहीं होता है। अमेरिका के द्वारा अपने करंसी के जरिए पूरे विश्व में प्रभुत्व कायम करना चाहता है। परंतु करेंसी स्वैप के कारण ऐसा संभव नहीं है। क्योंकि विश्व स्तर पर अमेरिका के इसी प्रभुत्व को समाप्त करने हेतु करेंसी स्वैप को जारी किया गया।
  • यदि आप अपनी मुद्रा को अमेरिका के डॉलर से बदलते हैं। तो इसे भी करेंसी स्वैप कहा जाता है। पूरे विश्व मे इसी के तहत व्यापार किया जाता है।
  • करेंसी स्वैप के माध्यम से दो देशों के संबंध मे आपको मजबूती देखने को मिलती है। यदि उदहारण देकर समझाया जाए, तो भारत और रूस के बीच एक व्यापक स्तर पर करेंसी स्वैप का कार्य किया जाता है। जिसके कारण रूस और भारत के बहुत मजबूत संबंध बन गए है।
  • यदि आप अमेरिकी डॉलर में करेंसी स्वैप करते हैं। तो उस पर लगने वाला चार्ज बहुत अधिक होता है। इसी प्रकार अमेरिकी दो देशों के बीच में घुसकर अपना फायदा कराता था। इसीलिए करेंसी स्वैप को लाया गया, कि दो देश आपस में ही अपनी मुद्रा का आदान प्रदान करें। ताकि बीच में लगने वाले सभी टेक्सो से बचा जा सके।
  • इस प्रकार करेंसी स्वैप दो देशों की अर्थव्यवस्था, मजबूत रणनीति, आर्थिक क्षमता और व्यापार इत्यादि के लिए लाभदायक सिद्ध होता है।
  • ऊपर दिए गए सभी प्रकार के लाभ करेंसी स्वैप करने से ही प्राप्त होते हैं।

करेंसी स्वैप क्या होता है? इससे संबंधित प्रश्न व उत्तर (FAQs)

Q:-1. करेंसी स्वैप का मतलब क्या होता है?

Ans:-1. करेंसी स्वैप का मतलब होता है, कि किसी देश की मुद्रा से किसी दूसरे देश की मुद्रा का आदान प्रदान किया जाना। यह एक प्रकार का वैश्विक कार्य होता है। इसी आदान प्रदान की प्रक्रिया को करेंसी स्वैप के नाम से जाना जाता है।

Q:-2. करेंसी कैसे मजबूत होती है?

Ans:-2. यदि कोई देश अपने देश की करेंसी को मजबूत करना चाहता है  तो उसे सर्वप्रथम अपने देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत करना होगा। इसके तत्पश्चात ही वह अपने देश की करेंसी को मजबूत कर सकता है।

Q:-3. क्या मुद्रा बदलने में लिए पैसे खर्च होते हैं?

Ans:-3. जी हां, मुद्रा बदलने में भी पैसे खर्च होते हैं। जिसे दोनों देशों को टैक्स के रूप में दिया जाता है।

Q:-4. करेंसी स्वैप किस-किस के बीच होता है?

Ans:-4. यदि आप यह सोच रहे हैं, कि करेंसी स्वैप दो देशों की सरकारों के बीच होता है। तो आप गलत हैं। करेंसी स्वैप दो कंपनियों, उद्योगों, संस्थाओं और व्यक्तियों के बीच हो सकता है। बशर्ते आपकी सरकार के उस देश की सरकार से संबंध अच्छे होने चाहिए ।

Q:-5. भारत का ₹1 रूस के कितने रुबल के बराबर होता है?

Ans:-5. हम आपको बता दें कि भारत का ₹1 रुपया रूस के दो रूबल के बराबर होता है। यदि रूस 60 रूबल प्रति लीटर तेल बेचता है। तो भारत वह तेल ₹30 में खरीद सकता है।

Q:-6. करेंसी स्वैप करने के क्या फायदे होते हैं?

Ans:-6. यदि आप करेंसी स्वैप के फायदे जानना चाहते हैं। तो हमारे द्वारा ऊपर इस लेख में आपको Benefits of Currency Swap के बारे में संपूर्ण जानकारी प्रदान की गई है।

निष्कर्ष (Conclusion)

आज हमारे द्वारा आप सभी को इस लेख के अंतर्गत Currency Swap Kya Hota Hai?  Currency swap ke kya fayde hote hai? इसके बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी दी गई है। इसकी जानकारी प्राप्त करने के लिए बहुत से लोग उत्सुक होंगे।

हमारे इस लेख की सहायता से आपको अवश्य ही करेंसी स्वैप के बारे में संपूर्ण जानकारी प्राप्त हुई होगी। यदि आपको हमारे द्वारा दी गई यह जानकारी पसंद आई हो तो हमें कमेंट बॉक्स में लिखकर जरूर बताइए। साथ ही साथ किसी भी समस्या का समाधान प्राप्त करने हेतु आप हमें कमेंट बॉक्स में कमेंट कर सकते हैं। इस लेख को अपने सभी दोस्तों के साथ शेयर करना ना भूले।

रिया आर्या

मैं शाहजहाँपुर उत्तर प्रदेश की रहने वाली हूँ। शुरू से ही मुझे डायरी लिखने में रुचि रही है। इसी रुचि को अपना प्रोफेशन बनाते हुए मैं पिछले 3 साल से ब्लॉग के ज़रिए लोगों को करियर संबधी जानकारी प्रदान कर रही हूँ।

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