अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष क्या है? इतिहास,कार्य, उद्देश्य

दोस्तों, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के बारे में वह युवा बहुत अच्छे से जानता होगा। जो करंट अफेयर से जुड़ा रहता है, परंतु अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष एक ऐसा विषय है। जिसके बारे में प्रत्येक नागरिक को जानकारी होना बेहद आवश्यक है क्योंकि अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष की सहायता से ही वैश्विक स्तर पर हमारी मुद्रा के माध्यम से विनियम और व्यापार आदि कार्य बहुत ही आसानी से होने लगे। यदि आप लोग भी अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के बारे में नहीं जानते है। तो हमारे द्वारा आप सभी को इस लेख में What is the international monetary fund? के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी दी गई है।

वैश्विक स्तर पर अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष एक बहुत ही महत्वपूर्ण संस्था है। इसके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं क्योंकि इस विषय को कोई भी व्यक्ति जानने की कोशिश नहीं करता है, परंतु बहुत से ऐसे लोग भी हैं, जो अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के बारे में जानकारी हासिल करना चाहते हैं। उन्हीं लोगों के लिए हमारे द्वारा आप सभी को इस लेख में What is the antarrashtriya mudra kosh? Antarrashtriya mudra kosh ka itihas? Work of an Antarrashtriya mudra kosh? आदि के बारे में विस्तार पूर्वक बताया गया है। इससे संबंधित अधिक जानकारी के लिए इस लेख को अंत तक जरूर पढ़ें।

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अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष क्या होता है? ( what is the International monetary fund?)

दोस्तों, हमारे द्वारा आप सभी को सबसे पहले यहां What is the International monetary fund? के बारे में बताने जा रहे हैं। दोस्तों, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष को शॉर्ट फॉर्म में आईएमएफ के नाम से जाना जाता है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष हम सभी के लिए 27 दिसंबर 1945 को अस्तित्व में आया था आईएमएफ का मुख्यालय अमेरिका के वॉशिंगटन डीसी में उपस्थित है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष का बोर्ड दुनिया भर के 180 से अधिक देशों से मिलकर बना है। 

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष क्या है इतिहास,कार्य, उद्देश्य

2022 तक 190 देश इसके सदस्य के रूप में उपस्थित है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष का प्राथमिक उद्देश्य उन देशों को वित्तीय सहायता प्रदान करना होता है, जो आर्थिक रूप से परेशानी का सामना कर रहे होते हैं। इन देशों को अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की सहायता से ऋण और अन्य वित्तीय सहायता प्राप्त होती हैं। इसके साथ-साथ अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के द्वारा आर्थिक नीति और प्रबंधन के संबंध में सदस्य देशों को तकनीक से संबंधित मार्गदर्शन और परामर्श प्रदान करने का कार्य करता है।

इसके अलावा आईएफ वैश्विक स्तर की गरीबी को कम करने हेतु सक्षम प्रयास करता रहता है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के तहत अंतर्राष्ट्रीय मौद्रिक सहयोग को प्रोत्साहित करने, विश्व व्यापार को सुविधाजनक बनाने तथा आर्थिक विकास और सतत विकास को प्रोत्साहित करने में सक्षम पूर्ण सहयोग करते हैं। आईएमएफ के द्वारा अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मुद्रा से संबंधित कार्य पूर्ण किए जाते हैं।

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष का इतिहास? (History of the International Monetary fund?)

दोस्तों यदि आप जानना चाहते हैं कि अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना क्यों की गई? विश्व को अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की आवश्यकता क्यों पड़ी? तो हमें अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के इतिहास की जानकारी प्राप्त करनी होगी। यहां हम आपको इसके बारे में जानकारी दे रहे हैं। यह संपूर्ण जानकारी निम्न प्रकार बिंदुओं के माध्यम से आप तक पहुंचाई गई है-

  • दोस्तों, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना ब्रिटेन वुड्स सम्मेलन में की गई थी, जिसके अंतर्गत संयुक्त राष्ट्रीय अमेरिका यूनाइटेड किंगडम और फ्रांस सहित 44 देश आए थे। इस सम्मेलन का मुख्य उद्देश्य है। वैश्विक आर्थिक सहयोग हेतु नहीं प्रणाली तैयार करना और गंभीर वैश्विक आर्थिक मंदी की पुनरावृत्ति को रोकना था।
  • दोस्तों, आईएमएफ की स्थापना का मुख्य उद्देश्य अंतर्राष्ट्रीय मौद्रिक सहयोग को बढ़ावा देना स्थिर वियोग सहयोग को बनाए रखना होता है।
  • आईएमएफ के अंतर्गत जो देश सदस्य हैं। उनकी आर्थिक परेशानियों को देखते हुए उन्हें ऋण प्रदान करने का कार्य भी अंतरराष्ट्रीय मुद्रा प्रणाली का होता है।
  • इस संगठन के द्वारा युद्ध के तत्पश्चात यूरोप के पुनर्निर्माण में इसने अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और युद्ध के अंतर्गत गंभीर रूप से प्रभावित देशों को आर्थिक सहायता प्रदान की।
  • इस संगठन को स्थापित करने के पीछे सबसे महत्वपूर्ण कारण द्वितीय विश्व युद्ध के बाद अंतरराष्ट्रीय मुद्रा विनियम दरों को स्थिर करना तथा अंतरराष्ट्रीय आर्थिक सहयोग के लिए एक रूपरेखा स्थापित करना था।
  • इसके माध्यम से आर्थिक रूप से परेशानी उठाने वाले देशों को बहुत राहत प्रदान होती है। 
  • 2008 से लेकर 2009 के वैश्विक वित्तीय संकट के बाद वर्तमान समय में अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के 190 सदस्य देश हैं। जिसका मुख्यालय वॉशिंगटन डीसी में उपस्थित है।

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष का उद्देश्य? (Aim of the International Monetary fund?)

दोस्तों, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष को स्थापित करने के बहुत से महत्वपूर्ण उद्देश्य है। यदि आप लोग अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के उद्देश्य के बारे में जानकारी हासिल करना चाहते हैं, तो हमारे द्वारा आप सभी को इसकी संपूर्ण जानकारी निम्न प्रकार दिए गए हैं-

  • अंतर्राष्ट्रीय मौद्रिक सहयोग:- अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष का मुख्य उद्देश्य दुनिया के विभिन्न सदस्यों के बीच मौद्रिक सहयोग स्थापित करना होता है क्योंकि द्वितीय विश्व युद्ध का एक सबसे महत्वपूर्ण कारक दुनिया भर के देशों के बीच मौद्रिक सहयोग का अभाव था। अतः भविष्य में इस प्रकार का युद्ध ना हो इसे रोकने के लिए अंतरराष्ट्रीय मौद्रिक सहयोग स्थापित करना आवश्यक हो गया था।
  • विदेशी मुद्रा दरों में स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए :- दोस्तों, द्वितीय विश्व युद्ध से पहले विदेशी मुद्रा दलों में बहुत ही अस्थिरता देखी जाती थी। यही कारण था कि अंतरराष्ट्रीय व्यापार पर इसका बहुत ही प्रतिकूल प्रभाव पड़ा था। अतः हम कह सकते हैं कि विदेशी मुद्रा दरों की अस्थिरता को समाप्त करने हेतु अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना की गई।
  • विनिमय नियंत्रण को समाप्त करने के लिए :- द्वितीय विश्व युद्ध से पहले प्रत्येक देश के द्वारा अपनी विनिमय में डर को एक विशेष स्तर तक तय करने के लिए एक उपकरण के रूप में विनिमय नियंत्रण का सहारा लिया गया। जिसके कारण अंतरराष्ट्रीय व्यापार पर बहुत ही अधिक प्रतिकूल प्रभाव पड़ा था। यही कारण था कि आईएमएफ के द्वारा विनिमय नियंत्रण को हटाने और उन्हें शीतल करने के लिए आगे आना पड़ा।
  • अंतर्राष्ट्रीय व्यापार को बढ़ावा देना:- अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष का महत्वपूर्ण उद्देश्य उन सभी प्रकार की बाधाओं को दूर करके अंतरराष्ट्रीय व्यापार को अधिक से अधिक बढ़ावा देना था। यही कारण था कि अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना की गई।
  • पिछड़े और अविकसित देश में पूंजी निवेश को बढ़ावा देना:- अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के द्वारा अमीर देश और गरीब देश में पूंजी निर्यात की जाती है। ताकि गरीब देश के द्वारा भी उच्च संसाधन को प्राप्त करने हेतु अपने आर्थिक संसाधन का विकास किया जा सके। यदि पिछड़े और अभिषेक देश में पूंजी निवेश को बढ़ावा दिया जाएगा, तो उसे देश की आर्थिक स्थिति में बहुत ही सुधार देखने को मिल सकता है।
  • भुगतान संतुलन में असंतुलन को दूर करने के लिए:- अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के अंतर्गत उपस्थित सदस्यों को आईएमएफ विदेशी मुद्राएं बेचकर या उधर देकर भुगतान संतुलन में संतुलन को दूर करने की कोशिश करता है।

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के कार्य? (Work of an international monetary fund?)

दोस्तों, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष एक बहुत ही महत्वपूर्ण अंग है। इसके द्वारा विभिन्न प्रकार के महत्वपूर्ण कार्य किए जाते है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के संपूर्ण कार्य के बारे में प्रत्येक व्यक्ति को जानकारी नहीं होती है। इसीलिए हमारे द्वारा आप सभी को नीचे अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के कार्यों के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी दी जा रही है। यह संपूर्ण जानकारी निम्न प्रकार है-

  • विदेशी विनिमय दर में स्थिरता:- आईएमएफ के द्वारा विदेशी विनिमय दरों को स्थिरता प्रदान करने में पूरी सहायता की जाती है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना के बाद भी नियमों दरों में इतना उतार चढ़ाव नहीं हुआ। जितना आईएमएफ की स्थापना से पहले हुआ करता था। इस प्रकार हम कह सकते हैं कि विदेशी विनिमय दरो में स्थिरता लाने का महत्वपूर्ण ककार्य आईएमएफ के द्वारा ही किया गया।
  • मुद्रा भंडार:- अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के द्वारा सभी सदस्य देश की मुद्राओं के लिए एक भंडार की भांति कार्य किया जाता है। इस स्थान से कोई भी देश अन्य देशों से उधार लेने में सक्षम हो सकता है क्योंकि सभी सदस्य देशों के द्वारा अपना अधिशेष स्थान आईएमएफ के पास जमा कर दिया जाता है। इस धन का प्रयोग उस समय किया जाता है, जब किसी देश को किसी निश्चित समय पर फंड की बहुत अधिक आवश्यकता हो।
  • सलाहकार और तकनीकी सहायता:- आईएमएफ के द्वारा अपने सदस्य देशों को नीतिगत सलाह और तकनीकी सहायता प्रदान की जाती है। जिसके तहत सदस्य देश अच्छी नीतियां बनाने और मजबूत संस्थान बनाने में सहायक होते हैं।
  • कम आय वाले देशों के लिए समर्थन:- आईएमएफ के द्वारा समय-समय पर कम आय वाले सदस्यों देश को गरीबी कम करने और लिए गए कर्ज का बोझ कम करने के लिए नीतिगत सलाह, आर्थिक सहायता और तकनीकी सहायता भी प्रदान की जाती है।
  • मौद्रिक रिजर्व कोर्स की स्थापना:- दोस्तों, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के द्वारा विभिन्न देशों की मुद्राओं को जमा करके एक बड़ा भंडार बनाकर मौद्रिक रिजर्व स्थापित करने में अपनी अहम भूमिका निभाता है। इस स्टॉक की सहायता से ही आईएमएफ सदस्य देशों की विदेशी मुद्रा आवश्यकताओं को पूरा करने में सक्षम होता है।
  • बहुपक्षीय व्यापार और भुगतान प्रणाली की स्थापना:- आईएमएफ के द्वारा मुख्य तौर पर बहुपक्षीय व्यापार और भुगतान प्रणाली की को स्थापित करने में बहुत सहायता की जाती है। सदस्य देशों को वाणिज्य लेनदेन के तहत विनिमय नियंत्रण लगाने की अनुमति प्रदान की गई। परंतु पूर्ण रूप से यह उम्मीद की गई कि विदेशी व्यापारों पर यह प्रतिबंध खत्म आप हो जाएंगे।
  • प्रतिस्पर्धी मुद्रा अवमूल्यन पर जांच करें:- दोस्तों, विश्व में देश के बीच आयात निर्यात होता रहता था। निर्यात को बढ़ाने के लिए पहले के समय में देश के द्वारा अक्सर प्रतिस्पर्धी मुद्रा अवमूल्यन का सहारा लिया जाता था। उस समय आईएमएफ की स्थापना नहीं की गई थी। इसीलिए आईएमएफ का मुख्य कार्य प्रतिस्पर्धी मुद्रा अवमूल्यन पर नियंत्रण रखना भी होता है।

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष क्या होते हैं? इससे संबंधित प्रश्न व उत्तर (FAQs):- 

Q:- 1. अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष किसे कहते हैं?

Ans:- 1. अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष विश्व में एक बहुत ही अहम भूमिका निभाता है। इसके द्वारा वैश्विक स्तर पर मौद्रिक स्तर से संबंधित विभिन्न प्रकार के कार्य किए जाते हैं। आईएमएफ के द्वारा जो आर्थिक रूप से कमजोर सदस्य देश है। उनको ऋण देकर मदद की जाती है और उनकी आर्थिक स्थिति को बेहतर करने के लिए प्रयास किए जाते हैं।

Q:- 2. अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना कब की गई?

Ans:- 2. अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना ब्रेटन वुड्स सम्मेलन में की गई थी। इसकी स्थापना 27 दिसंबर 1945 में की गई थी अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना वैश्विक स्थिति को ध्यान में रखते हुए की गई थी। द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान वैश्विक स्थिति आर्थिक रूप से बहुत कमजोर थी। इसी कारण अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्थापना की गई।

Q- 3. आईएमएफ का मुख्यालय कहां उपस्थित है?

Ans:- 3. दोस्तों, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष को ही शॉर्ट फॉर्म में आईएमएफ के नाम से जाना जाता है। आईएमएफ का मुख्यालय संयुक्त राष्ट्रीय अमेरिका के वॉशिंगटन डीसी में उपस्थित है। इस संगठन के सदस्य देशों को रन के साथ-साथ अन्य वित्तीय सहायता भी प्रदान की जाती है।

Q:- 4. अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के अंतर्गत पहले कितने सदस्य देश थे तथा अब कितने सदस्य देश हैं?

Ans:- 4. दोस्तों, पहले के समय में इस संगठन का बोर्ड दुनिया भर के 180 से अधिक सदस्य देशों से मिलकर बना होता है, परंतु दिसंबर 2022 तक इसके सदस्य के रूप में 190 देश हो चुके हैं। जो आईएमएफ की संपूर्ण सहायता प्राप्त करने में सक्षम होते हैं।

Q:- 5. अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष की आवश्यकता क्यों पड़ी?

Ans:- 5. द्वितीय विश्व युद्ध से पहले बहुत से ऐसे अव्यवहारिक कार्य होते थे। जो विश्व की प्रगति के लिए सही नहीं थे। साथ ही साथ द्वितीय विश्व युद्ध के बाद सभी देश को बहुत सी आर्थिक मंदी से गुजरना पड़ा। जिसके कारण आईएमएफ की स्थापना की आवश्यकता पड़ी, ताकि लोग वैश्विक स्तर पर मौद्रिक सहयोग प्राप्त कर सके।

Q:- 6. अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के कार्य क्या होते हैं?

Ans:- 6. अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष एक बहुत ही महत्वपूर्ण संस्था है। जिसके द्वारा बहुत ही महत्वपूर्ण कार्य किए जाते हैं। यदि आप लोग अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के कार्य के बारे में जानकारी प्राप्त करना चाहते हैं, तो हमारे द्वारा ऊपर लेख में आपको इसकी विस्तार पूर्वक जानकारी दी गई है। आप हमारे लेख की सहायता से यह जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।

निष्कर्ष (Conclusion):- दोस्तों, हमारे द्वारा आज आप सभी को इस लेख के अंतर्गत International monetary fund से संबंधित विस्तार पूर्वक संपूर्ण जानकारी दी है। हमने आपको इस लेख में What is the international monetary fund? History of monetary funds? Work of an international monetary fund? आदि के बारे में बताया है। हम उम्मीद करते हैं कि आप सभी को हमारे द्वारा दी गई यह जानकारी बेहद पसंद आई होगी। यदि आपको हमारे द्वारा दी गई यह संपूर्ण जानकारी पसंद आई हो, तो आप हमें कमेंट सेक्शन में लिखकर जरूर बताइए। साथ ही इस संपूर्ण जानकारी को अपने सभी दोस्तों व रिश्तेदारों के साथ शेयर करना न भूलें।

रिया आर्या

मैं शाहजहाँपुर उत्तर प्रदेश की रहने वाली हूँ। शुरू से ही मुझे डायरी लिखने में रुचि रही है। इसी रुचि को अपना प्रोफेशन बनाते हुए मैं पिछले 3 साल से ब्लॉग के ज़रिए लोगों को करियर संबधी जानकारी प्रदान कर रही हूँ।

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